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जुलाई, 2023 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं
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              " संकट में बाबा केदार की नगरी " देवभूमि कहे जाने वाला राज्य उत्तराखण्ड आज स्वयं केदारनाथ बाबा से अपनी जिंदगी की भीख मांग रहा हैं । भारी वर्षा से पहाड़ो का जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया हैं । सड़क मार्गो का आपस में संपर्क टूट गया हैं जिसका सीधा असर ग्रामीण क्षेत्रीय लोगों पर पड़ता दिखाई दे रहा है ।  राज्य के कई जिले भारी भूस्खलन की चपेट में आए है । टिहरी जिले में एक गाडी  भूस्खलन  की वजह से गंगा नदी गिर गई जिसमे सवार तीन लोग अपनी जान गवा बैठे । वहीं दूसरी तरफ चमोली जिले मे  पहाड़ का एक टुकड़ा  के केदारनाथ मार्ग में आ गिरा जिसमे जानमाल की कोई हानि नही हुई । आपदा प्रबंधन डिपार्टमेंट के अनुसार  वर्ष २०१५ में ३३, २०२० मे ९७२ और इस वर्ष १३२ भूस्खलनो की संख्या दर्ज की गई है ।   इस आपदा की वजह से केदारनाथ यात्रा इस इस वर्ष भी अडंगा आ खड़ा हुआ हैं ।  ग्रामीण लोगो के साथ-साथ ही पहाड़ो में फसे पर्यटकों को कई सारी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा हैं । यातायात के सभी साधन बंद पड़ गए हैं तथा कई इलाकों में बिजली न आने की समस्य...